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Metadaten

Texttitel (Kurzbezeichnung)Nürnberger Stadtbuch (Satzungsbuch I/A)
Textkürzel in ReM (und in der Mittelhochdeutschen Grammatik)SBNü
Textkürzel im Mittelhochdeutschen WörterbuchNüP
Textsorte, spezifischRecht
TextsorteStadtrechtsbuch
Textart (P = Prosatext, U = Urkunde, V = Verstext)P
Primäre Referenz (Edition, Handschrift)Handschrift
Sekundäre Referenz (Edition, Handschrift)Edition
AufbewahrungsortNürnberg, Staatsarchiv
SignaturReichsstadt Nürnberg, Amts- und Standbücher Nr. 228
Link zum Handschriftencensushttp://www.handschriftencensus.de/7730
Überlieferungstyp (Handschrift, Rolle, Inschrift)Handschrift
Blattangabe25 Blätter
Ausschnitt-
Sprachstufe (in ReM steht “mhd”)mhd
sprachlicher Großraum, weit (oberdeutsch, mitteldeutsch, niederdeutsch)oberdeutsch
sprachlicher Großraum, enger (z.B. ostoberdeutsch, westmitteldeutsch)nordoberdeutsch
Sprachlandschaft/Dialekt (z.B. nordbairisch, schwäbisch, hessisch)ostfränkisch
Lokalisierung/SchreibortNürnberg
Zeit (Jahrhundert(hälfte)) (z.B. 12,2 = 12. Jh., 2. Hälfte)14,1
Bemerkungen zum Überlieferungsträger-
Zeit (genauere Datierung)1302-ca. 1310
Lokalisierung (Entstehungsort) des TextesNürnberg
Autor des Textes-
Sprache des Autorsostfränkisch
Übersetzungsvorlage-
Edition (Standardedition, auf die sich ggf. die primäre oder sekundäre Referenz bezieht)Werner Schultheiß, Satzungsbücher und Satzungen der Reichsstadt Nürnberg aus dem 14. Jahrhundert, 1. Lieferung: Einleitung (1. Teil), Abdruck der Texte, Personen- und Ortsregister (Quellen zur Geschichte und Kultur der Stadt Nürnberg 3,1), Nürnberg 1965
Korpuszugehörigkeit (ReM I, ReM II, MiGraKo)MiGraKo
Bemerkungen zur Texterfassung/Transkription-
Bemerkungen zur Annotation-
Digitalisierung von: Name(n) (Arbeitsstelle)(Bochum)
Kollationierung von: Name(n) (Arbeitsstelle)(Bochum)
Präeditiert durch: Name(n) (Arbeitsstelle)Elke Weber (Bonn)
Annotierung von: Name(n) (Arbeitsstelle)Elke Weber (Bonn)
Abschlusskorrektur durch: Name(n) (Arbeitsstelle)Lars Eschke, Martin Fuß, Diane Meyer (Bonn)

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Des erſten habent die pvrger
geſetzet von dem Rat. maiſtˢ
vber daz brôt. In Sande Seboltes
pharre. Hern wolfleín den Sachſē.
vn̄ Hern Heinrich den Eiſvogel.
In Sande Lovrenzín pharre Herē
Heinrich den Regnolt. vn̄ den
Heinrich von Swabach. Vn̄ zv dē
vier Pvrgern hat man gegeben
vier Meiſter vz den Becken. In
Sande Seboltes pharre den Pynzberger.
vn̄ den Gotfrid an dem
weinmarkt. In ſande Laͦurenzē
pharre Beſolt den Biſſcholf.
vn̄ den wenger. Die ſelben alle
ſvlen bewaren. daz man von lovterre
ſemelle eín brôt bache vmb
ein phennínc. vn̄ von Bolle eín
brôt vmb ein phenninc. vnd daz
dev brot alſo gezaichent ſeîn. daz
man eínez von dem andern erchenne.
vn̄ ſvlen ovch bewaren.
daz bolle vn̄ ſemele zv eínander
iht gemiſchet werden. Vn̄ ſwelhˢ
hande brot eín maiſter bachen
wil. von den zweín melwen dˢ ſol
achten daz bolle vn̄ semel von eínander
geſvndert werden. Vn̄ ſwelhe bekke
zechlein bachet. der iſt ſchvldic
dem Schvltheizzen der alten
bvze daz ſint Sechs phennínge.
Vn̄ ſwaz der becke iſt dev zechlaín
gebachen iſt. die ſvlen díe maiſtˢ
gar vf die penke haizē tragen.
vn̄ ſvlen der brot fvnfev vmb vier
ſâtzen. der aber eín phenwert
wil. dem ſol man dar zv eín vierteil
geben. vn̄ zv zweín phenwerten
eín halbz brot. Vn̄ ſwāne man
daz brot alſo geſetzet. ſwelhˢ maiſter
danne die bekke niht gar vf
die penke brínget. oder der ſin eín
teil wider von der bank heím trêgt.
fvrſt ez dar vf geſetzet wîrt. der
iſt ſchvldic Sehzic phenning. dem
Rihter vn̄ der Stat. Iſt er aber eín
míetkneht der daz gebot brichet.
den ſol man ſchvpfen. Ez ſvlen
ovch die maiſter alle tag den brotchovff
verſvchen. Man ſol ovch/
newer eín brot bachen vmb eín
phennínc. Vn̄ ſwaz bekken geſezzē
iſt în zweín meilen. die ſvlen ín
dem gebot ſein als vnsˢ bekken
vn̄ meiſter ín der ſtat. vzzˢhalb
zweir meil niht. Vn̄ ſwer brot
her în fvret. vn̄ daz gebot bricht
dem ſol man dreizíc brot zeſneiden.
ie daz brot ze zweín ſtvckken.
Ez ſol ovch eín iegelich becke
eín tvch vnder ſîn brot legē.
ſwer daz brichet der gibt Sechs
phenning. Swer ovch brot odˢ
chorn her ín fvret. der ſol vnd
ſín vieh vn̄ ſín wagen geleit haben
er ſei danne bvrge oder
ſelbſchol. Swaz man ovch brottes
fvret von Vorchaím. der ſol
lovter ſemel ſetzen von der bolle.
ſwa man des fvrbaz gemiſchet
vindet dem zerſneit man
des gemiſchten dreizic brot.
So hat man geſetzet vbˢ daz
vleiſch Hern Marchart dē vieh
Vlrich den bvkken. Herman dē
Milla. Friderich den Illſvnc. den
Lengenvelder. Friderich den Pomer.
Vlrich den Kotzler vn̄ den
wuͦrſtleîn. die ſvlen daz bewarē
daz niemen dehein Rínt ſlahe
ſi enhaben ez e danne vorbeſehen.
Ez en ſol ovch niemen dehein
ſweinen vleiſch vf die penke
ſneiden. ſi enhaben ez e beſehen.
ſwer der gebot einez brichet.
der iſt ſchvldic der Stat vn̄ dem
Rihter Sehzic phenning. Vnde
ſwenne vleiſch phínnic geſaget
wirt. ſo ſol man ez fvrbaz niht
vf den rehten vleiſchbenken weder
verchovffen noch verſneiden.
danne bei dem zai ner . Ez ſol
ovch niemen dem andern Verher mvͤtrîn
vleiſch zechovffen
geben danne mit gewizzen.
Swer daz gebot brichet dˢ gibt
Sehzic phenning. Swer aber
daz vleiſch daz die maiſtˢ phînnic
habent geſagt. verkovffet
vf den rehten vleiſbenkē dar
nach. der gibt eín phvnt. alle
ſweínen Lentpraten ſol man ín
die wurſte hacken. ſwer ſi anders
verkovfft der gibt Sel zwê̄
ſchilling. als dícke vnd er daz
tvͦt. Man ſol ovch krâ noch mitíger
in dev Smêr wínden. noch
dehein kalp ſlahen dvrch daz
íar weder chriſten noch die Ivdē.
ſwer daz brichet der gibt ze pvze
Sehzic phenning. vnd daz
vleiſch ſol verloren ſín. Swˢ vleiſche
verchovffet der ſol ſten índˢthalb
ſines tiſches. ſwer daz brichet
der gibt ze bvze zwên ſchillinge.
Ez ſol ovch eín ieglich vleiſchaker
ſín vleiſch ſvndern. daz
bvkeín von dem Schêfinem . vn̄
ſol iegelich vleiſch da fvr geben
vn̄ ez iſt. als dike vn̄ er daz brichet.
als dike gibt er Sehzíc
phennig. aller tag tegeliches
als man vleiſch izzet. ſo ſol man
an dem abent vleiſch haben
man veíer oder niht. als dikke
ſwer daz brichet der gibt Sêhzíc
phenníng. er enſwere dāne daz
er hie heim niht were daz er ſín
niht beraiten môhte. Ez ſvlen
och die ſelben meiſter einē iegelichen
vleiſchaker rvͤgen der
devbigez oder rovbigez vleiſch
chovffet. wan ſwer daz tvͦt der
gibt dev bvͦz dev von alter dar
vf geſetzet iſt. Man ſol ovch dehein
vriſchez vleiſch lengˢ veil
haben danne zwene tage. Swer
daz brichet der gibt Sehzic phēnínge.
Vn̄ ſwelhe vieh die meiſtˢ
bvͦzwirdíc ſagent. dem ſol man
des zagels als vil abſlahen. daz
man ez da bei erchenne. daz en
ſol ovch fvrbaz deheín meiſter
beſehen. Ez ſol ovch niemen deheín
vieh von dem lande treibē.
Swer daz brichet der gibt von
dem Rínde Sehzic phennínge.
von dem varhe. Sechs vn̄ dreizíc.
von dem Schaffe zwene
ſchillinge. Swer dar vmbe von
der Stat vert vn̄ daz geſetzde
niht dvlden wil. den ſol man
niht mere ze pvrger enphahen.
er engebe e der ſtat zehē phv̄t
phenninge. Ez mvgē ovch wol
zwene vleiſchaker zwiſchen
Sande Walpurge tag vn̄ ſande
Giligen tag mit eínander gemain
haben. ein Rínt oder eín
varh vf den penkîn. fvr die ſelben
vriſt ſol deheiner mit dem
andern dehein gemain haben.
Man gebevt ovch vnſern meiſtern.
ſwelher vieh chovffet oder
ir geſelleſchaft. oder ir knehte
in zehen meilen. die ſvlen daz
niht verkovffen fvrbaz. danne
hie ze der ſtat. Swer daz bricht
der gibt die vorgenanten bvͦz.
von dem Rinde Sehzic phennīg.
von dem varhe. Sechs vn̄ dreizeic.
von dem Schafe zwē ſchillinge.
Ez ſol ovch dehein vleiſchaker
an der ſtraze dehein
vieh toͤten dāne vf der Slahprvken.
bei der vorgenanten
bvͦz. Ez ſvlen ovch die aht meiſter
bewaren. daz niemen deheín
vieh von dem lande treibe. vnd
gibt man ín daz vf iren eit daz
ſi des ſelbe iht entvͦn. noch deheín
geſelleſchaft dar an habē.
vn̄ ſwa ſi des inne werden der
daz breche. den ſvlen ſi rvͤgen vf
iren eít. der gibt danne von dē
Rinde Sechzic phenning. von
dem varhe. Sechs vn̄ dreizíc.
von dem Schafe zwên ſchillīg.
Man verbevt ovch daz deheín
Iude deheín vieh toten ſol. er en
hab ez danne vor reht vn̄ redelich
gechovfft. Ez ſol ovch deheín
vleiſchaker deheín vieh toten
an dem vreitag vor mittem tag.
zwiſchen ſande walpurge tage
vn̄ ſande Giligen tage. ſwer daz
brichet der gibt dev bvͦz dev vf
daz vleiſch geſetzet iſt.
Ez ſínt ovch die meiſter geſetzet
vber daz grabe gewant. In
ſande Seboltes pharre. Vlrich
des fritzen brvͦder. Herman dˢ
Grevſínger. Vlrich der fvle. In
Sande Lavrenzín pharre. Merchil
der Rvmel. Berhtolt Svmerlín.
Rudger der prveler die
habent dar vber geſworen ze
den heiligen. daz ſi ſvlen daz
bewaren. daz man dev graben
tvͦch wurke in der braít vn̄ ín
der dike walke als vor zwaínzíc
íaren. Ez ſol ovch niemen
deheín grab tvͦch verchovffen.
ez enhaben danne der vorgenāten
meiſter drei oder zwene
ze dem aller minſten e beſehē.
daz ez alſo geworht vn̄ gewalken
ſi als ez geſatzt iſt. die ſvlen
danne der ſtat zeichen dar
an legē als ſi ez beſehen habent
als ez danne gezeichent iſt. ſo ſol
er ez dāne verchovffen vn̄ niht
e. Swer ez dar vber verchovffet
vngezeichet. der gibt ze bvz íe
von der ellen zwene haller. Mā
hat ovch geſetzet vn̄ geboten
daz niemen deheín grabez tvͦch
noch deheín leînen tvͦch ſol ze
lieht ze ſetzen noch verchovffē
des vreitags noch an dem Samzetag.
danne in dem wathovs.
Swer ez dar vber her fvr ſetzet
oder verchovfft anderſwa. der
gibt ze bvͦze ie von dem ſtvke
Sehzic phennig.
Man hat ovch verbotē ellev
ſwert vn̄ ellev ſpitzigev mezzer
dev níht ſtvmpf geſlagen ſínt
vn̄ alle verboten were. daz die
niemen tragen ſol. danne der
lantrihter ſo der hínne iſt vnd
ſín geſinde daz ſín brot izzet vn̄
fvrbaz niht mere. vn̄ der Lantvogt
vn̄ ſín geſinde daz ſín brôt
ízzet. Vn̄ der Schultheiz vn̄ ſin
tegelich geſinde daz ſín brot izzet
vn̄ der ſtat pvtel. Swer dar
vber ſwert oder mezzer tregt
oder verbotē were offenlich. der
gibt dem Rihter vn̄ der ſtat Sêhzic
phennig. Tregt aber ez verlich
vf eines ſchaden. ſo iſt er
ſchvldic zwair phvnde. Treget
ovch er ſi heimlich ſo iſt er aber
ſchuldic zwair phvnde. Swer
der phening niht enhat man
ſleht im ab dev hant. Swˢ ovch
lovfft mít verbotener wêr verlich
ze einem chrieg der gibt
ovch zwai phvnt. Man ſol ovch
niemen der verbotē wer trêgt
deheín veilſache ze chovffen geben.
im ſol ovch dehein wirt ſinen
win mít wizzen geben. tvͦt
er daz vber der gibt ſehzic phēninge.
Tregt ín der vftrager
dar mít gewizzē. der gibt ovch
ſehzic phennig. hat er ir niht ſo ſolˢ einē tac
vn̄ ein naht bei dem ſtok ſitzē.
wír verbieten ovch daz niemē
vor deheinem zapfen. weder
ſwert noch ſpitzigev mezzer
noch aller verlicher were deheine
neme. Swer ez dar vbˢ nímt
der gibt ie von dem phande
Sehzic phenning. hat er der
phenning niht man ſleht in zv
dem ſtoke vn̄ mvz als lāge da
bei ſitzen vnz er des Schvltheizen
vn̄ des Rates vrevntſchafte
gewinnet. Vn̄ diſev wette gevallent
dem Schvltheizen halbe
vn̄ der ſtat halbe.
Swenne ovch ein gaſt her ín
reitet oder get. dem ſol dˢ wirt
oder dev Hovſvrowe ob der wirt
niht anheím iſt oder ſin geſinde.
der gaſt mezzer vnde ſwert
laze ligen. Tregt ez der gaſt dar
vber ſo ſol ſín der wirt noch dev
hovſvrow niht behalten. vn̄ ſvlen
dem gaſt noch dem knehte
noch iren pherden weder ze ezzē
noch zetrinken geben. er la dāne
ſwert vn̄ mezzer in der herwerge.
Tregt aber ez der gaſt
dar vber vz der herwerg ſo ſol
der wirt ſehzíc phennig gebē
ez ſei der. gaſt enwec oder niht.
vn̄ ſol die haben vf des gaſtes
phant. Verſwiget aber ez der
wirt vn̄ dev Hovſvrow daz ſi dē
gaſt niht ſwert noch mezzer
haizzent lazen ligen. ſo ſvlen
ſi die ſelben Sehzic phennīge
geben. Ez ſol ovch niemen fvren
mezzir noch ſwert zedeheinem
Rennen noch deheín verboten
wêr noch deheinen ſtekē.
in der ſtat noch vf daz velt er
enwelle danne reiten. vber eín
vierdig teil einer meile. oder
ze holtz ze dem mínſten. Swˢ
daz bricht der gibt ſehzíc phēnínge.
Ez ſínt ovch die pvrger ze rat
worden. ſwer vnfvͦge tvͦt mit
Rovffen vn̄ mit ſlahen oder mit
wunden ein pvrger den andˢn. der
ſol daz dem Rihter pvͤzen als
von alter gewonheít her iſt chomen
vn̄ ovch reht iſt. vn̄ der ſtat
ſol er alſo bezzern. daz er einen
manen ſol ſin von der ſtat vber
eín meil. Chvmt er ín dem manen
her wider ín. ſo ſol er die ein
Iar die ſtat meiden. Chumt er
ín dem Iar her wider în ſo ſol er
ſín bvrchreht ewichlich haben
verlorn. Vn̄ ſwa eín vnfvge geſchiht
mit Rovffen oder mit ſlahen.
oder mit wunden ſwer ſich
da von nemen wil. der ſol chomē
nach der geſchiht vf den Mittewochen
des næhſten rates vnd
ſol ſin vnſchvlde da fvr bringen.
Tuͦt er des niht. ſo ſol er an dem
næhſten tag nach dem ſelben
rat die ſtat rovmen als da vor
geſchriben ſtêt. Vn̄ vert er niht
vz. vn̄ entſlech ſich ovch niht alſ
da vor geſchriben ſtat. der mvͦz
zwiveltigev bvz leiden. daz iſt
aht wochen ſin von der ſtat. Grifet
aber eín gaſt einem bvrger ī
ſin har. oder ſleht ín oder ſtozet
ín. der iſt dar vmb ſchvldic fvnf
phvnt. Hat er der phenning niht
man ſleht im ab die hant. Swāne
ovch eín zerwerfnvſſe geſchihet
mit rovffen oder mit ſlahen.
iſt der geſworn einer von der ſtat
da bei geweſen. ſagt er vf ſeinen
eît. daz der da miſſehandelt iſt
daz er ez mit vnbeſcheiden worten
an in braht hab. ſo ſol er der
vorgeſchriben bvz gen der ſtat vberic
ſín. Iſt der geſworn deheinˢ
da bei geweſen. ſint aber zwene
ander erſame man da bei geweſē
bríngent die daz mit ir eide daz
ez iener wol verdienet habe daz
er miſſehandelt ſi des ſol der abˢ
geniezzen. ez ſol aber dem rihter
an ſinem reht niht abgên. iſt daz im
gechlagt wírt ſwar dev ſchvlde
gevellet. Iſt aber daz zwene an
eínander miſſehandelt . da niemē
bei iſt geweſen. die ſvlen chomē
in den rat ze dem næhſtē Mitwochen.
vn̄ ſwanne man ir beider
rede in genímt. ſwie ez dˢ rat
danne zwiſchen in machet. daz
ſi ſvlen ſi ſvlen ſi bedenthalben
ſtet haben. Ez iſt alſo gemacht
in dem rat. vn̄ geſetzet von dem
rat. iſt daz der da miſſehandelt
iſt niht enchlagt ze dem nehſtē
rat an der Mitwochē. daz der ſol
ovch vier wochen von dˢ ſtat ſín.
Ez iſt ovch geſetzet ſwelhˢ kneht
niht gedingt iſt. eín vierteil eines
iares oder eín halbez iar. odˢ
eín ganz iar. der iſt in dˢ pvrger
gebot niht. der mvz ein rovffen
vn̄ ein ſlahen bezzern oder ein
ander vngefvge als ein gaſ t
Ez ſint ovch die pvrger ze rat
worden. daz dehein pvrger noch
deheines pvrgers chint. in tageᷤ
vn̄ in nahtes niht mer ſol vˢſpilen
danne ſehzic haller. mit deheinerſlaht
ſpil. weder mit wurfelen.
mit kvgelen. mit pôzen.
mit ſeiben. mit welzelen. noch
mit deheinem ſpil. daz ſpile gehaizzen
mac. ſwer daz bricht vn̄
mer verſpilt danne ſehzic hallˢ
als vil als er mere verſpilt vbˢ
die ſehzic haller. des iſt er ſchvldic
dem Rihter vn̄ der ſtat zegeben.
vn̄ ienem niht mere dāne
die ſehzic haller. Ez ſol ovch der
gewinner als vil als er mere gewínnet
danne die ſehzic haller
als vil iſt er ſchvldic dem rihter
vn̄ der ſtat. vn̄ dev bvz ſol halbe
gevallen dem rihter vn̄ dˢ ſtat
halbe. Ez ſvlen ovch aller purgˢ
chnehte ín dem gebot ſín .
Ez ſol ovch deheín Leitkebe weder
in dem hovſe noch vf dˢ ſtraze
ſín trinken geben fvrſt daz
man vewergeloken levtet. nevwer
der bvrger boten hín haím
ez ſei danne ob eín Rihter die
wahte reite oder gê. dem mac mā
wol trinken geben ob er ez vordert.
Oder des rates oder der ſchephen
in der ſtat geſcheft iſt. den
mac man ovch wol trinken geben.
Iſt daz der chneht der vor dem
wíne ſitzet. vn̄ daz gebot bricht
iſt daz geſchehen mit ſínes hˢren
willē ſo gibt der herre ſehzick
phenning. Hat aber er ez getā
an ſines herren wort. ſo gibt er
die ſehzíc. hat er der phenning
niht. ſo ſol er bei dem ſtok einē
tac ſitzen. Ez ſol ovch deheine
gaſt den wín den er her gefvͤrt
hat. von franken oder von dem
Nekker. niht ziehen von einem
wagen noch von einem karren
vf den andern. ſwar vf er in her
gefvͤrt hat. dar vf ſol er in verchovffen.
ſwer daz brichet der
gibt von dem vazze ſehzic phēninge.
Ez ſol ovch dehein pvrger
deheinem gaſt ſín wín in legen.
weder in keler in hovs noch vnder
ſín obdach. ſwer daz brichet
der gibt von dem podem ein phv̄t
als dike er ez bricht. Swer dehein
geſelleſchaft hat mít einē
gaſt. ez ſei an wín oder an anderem
chovffſatz . der ſol von dem
phvnt geben driveltigev Loſvng.
Ez ſol ovch dehein Leithovs ſin
vzzerhalb der Rinkmower. ſwˢ
daz brichet der gibt von dē podem
ſehzic phennīg. Swer ovch
dem wirt eín glas bricht dˢ wín
ſchenket mit var. der gibt ſehzic
phenning ie von dem glas.
Swelher pvͦb ovch warent ín dē
keler als die Mezmaiſtˢ zv gênt.
vn̄ den die mezmeiſtˢ dar vmbe
rvͤgent vf ir eide der iſt ſchuldic
ſehzíc phenníng. Hat er dˢ phēnínge
niht ſo ſol er einen tac bei
dem ſtoke ſitzen. Dvnkt aber
die Mezmaiſter daz ein pvͦbe
gewarent habe. den ſvlen ſi dar
vmbe anvertigen. vn̄ ſvlen ſín
reht dar vmbe nemen ob er ſin
lovgent. Bringet ein gaſt her
Elſazzer oder welhiſchen wín
den er verchovffen wil. mag er
des vf dem wagen niht verchovffen.
ſo mag er ín wol nider legē
vf die erden ane obdach. Ez ſol
ovch dehein weinſchrotˢ deheinē
gaſt wín in legen in der vorſtat
Ez enſol ovch dehein pvrgˢ von
deheinen gaſt ín der vorſtat win uz zihen
ſwer daz bricht der gibt ie von
dem podem ſehzíc phennínge.
bede der pvrger vn̄ der wínſchᵒter.
Ez ſol ovch niemen deheinē
weín ſchenken an der ſtrazze
ez ſei danne eín gaſt vf ſinem
wagen oder vf ſinem karren.
ſwer daz bricht der gibt ie von
dem pôdem ſehzic phennínge.
dar vber ſint die mezmaiſtˢ geſetzet
ze rvͤgen. vn̄ ovch di weínſtecher
die weín helfent chovffen
vn̄ verchovffen.
Ez ſol ovch ie der weínſtecher
ſweren ze den heiligen daz er dē
purgern irev geſetzde rvͤge ſwa
er ſi wizze zeprochen ſîn. an dem
weín. Er ſol ovch nímmer von dē
gaſte nemen danne von dem fvder
ſechs phenīng. vn̄ von dem
pvrger niht. danne er im gerne
gibt vf dem markt. Ez ſol ovch
deheín wein mezzer niht mêr nemen.
von dem eimer dāne einē
helblínc. vn̄ von einē ein lvtzeln
halben eímer ovch einē helblínc.
ſwaz er ím dar vber erbeít. des
ſol er ím lônen als zeitlich iſt.
Man verbevt ovch allen fvrchovff.
vn̄ allen pfragenchovff.
allen geſten den gaſtgeben allen
Ivden allen pfragnerín. allˢ
tag tæglich vnz man tagmeſſe
levtet ze ſande Giligen. vn̄ an
dem vreitag den tag allen vnd
an dem Samztag vnz an den
mitten tag. ſwer daz bricht der
gibt von iegelichem ding daz
ein wagen tregt. ez ſei ſtro. gras
oder hewe. wiken. piren odˢ chriechen.
oder epfel. ſwer daz fvrchovfet.
als dike er daz tvͦt der gibt
zwen ſchilling. Ez ſol ovch niemen
gên deheín pfragenchovf
gên. In ſande Sebolts pharre
verrer. danne an des Chunrat
weigleins hovs an dem Milchmarkt.
vn̄ an daz hovs daz des
Hartliebs was an dē Hewmarket .
vn̄ ín ſande Lavrenzī pharre
vnz an des Chunrat Chrāfvzes
hovs. vn̄ fvr den Smit an dē
Prvklîn. Ez ſol ovch niemē deheín
korn kovffen. wan des er
bedarf in ſinem hov̂s. Swˢ daz
bricht der gibt ie von dem Svmerín
ſehzic phennīg. ez ſei haber
oder chorn. oder ſwelher hande
korn ez iſt. Daz ſvlen bewaren
In ſande Sebolts pharre.
Eberhart der Hevzze. Sibot der
Hornlín. Rudolt dˢ fvtrer. kelnˢ
der fvtrer . In ſande Lavrenzín
pharre der Hagnower. Heīrich
der fvtrer . Heinzil der fvtreR .
vn̄ Chunrat der fvtrer an dem
kornmarkt. die ſvlen des alle
ſweren ze den heiligen daz ſi
daz ſelbe behaltent ſin. vn̄ ovch
rvͤgen ſwˢ ez brechent iſt.
Ez ſint ovch die pvrger ze rat
worden. iſt daz. daz ein vzman
zv dem rihter ſendet vmb eín
geleit. ſo ſol der rihter ſprechen
vor wem er ſorge hab. nennet
er im danne etteſwen wider dē
er getan hat zv dem ſol der rihter
ſenden vn̄ ſol ín bittē vmb
ein geleit Sprichet aber dˢ vzman.
daz er niemen wizze. widˢ
den er getan hab. ſo ſol der Rihter
ſelbe trahtē ob er iemen wizze
vn̄ ſol zv dem ſenden vnd ſol
in bitten vmb ein geleit. weiz
aber der Rihter níemē vnd daz
der gaſt alſo her ín reitet. ſo im
der rihter geleit gegeben hat vn̄
chvmt dāne iemen ze dē rihter
vn̄ chlagt. der ſol dem rihtˢ danne
ſin geleit ze dem mal behalten.
aber der rihter ſol ím dem ſelben
fvrbaz deheín geleit geben. an
des ſelben wort. Ez ſvlen ovch alle
leiſter vride vn̄ geleit haben
die ín der ſtat leiſtent. vor purgern
vn̄ vor allen levtē. Wˢe aber
ob keẏn leiſter vnfuge tet in dˢ Stat
di wile er leiſtet. di ſchol er bezzˢen
als recht iſt.
Ein iegelich purgˢ der laiſten ſol.
der iſt niht mere ſchvldic ze leiſten
danne des tages eín mal. deſ
morgens oder des nahtes ſwelhz.
er wil. da mit iſt er enbroſten.
an deheinem ſvntag noch an deheinem
veirtag ſo iſt er niht
ſchvldic ze laiſten. Ein iegelichˢ
purgˢ der ín einer laiſtvnge íſt.
wil der varen in ſín ſelbes geſchefte
oder ín der ſtat geſcheft oder
ob er wallen wil. oder varen ín
chovfmanſſcheft. den ſol dev laiſtvnge
niht irren. vn̄ im an ſinē
trewen niht en ſchaden .
Ez ſol ovch niemen geverlich gên
vf der ſtraze daz ſol der rihter bewaren
vn̄ ſín knehte. Iſt daz eín
purger begriffen wirt vf dˢ ſtraze
bei der naht nach fewerglokken.
iſt er erchant ſo ſol man ín
niht vahen. iſt er eines bvrgers
chneht vn̄ iſt erchant ſo ſol mā
ín ovch niht vahen. Man ſol ím
des morgens fvr gebietē. iſt er
danne gegangen ínſines hˢren
geſchefte. ſo iſt er deheiner pvͦz
ſchuldic. Iſt aber er gegangen ín
ſín ſelbes geſcheft. ſo ſol er ſehzíc
phennig geben. Wirt ovch eine
gaſt begriffen vf der ſtraze nennet
er ſinen wirt ſo ſol man în
da hín fvren. ſagt ín danne der
wirt vnſchvldíc. ſo ſol er deheîn
bvze geben. Swer aber vndˢ chāt
iſt vn̄ vf der ſtraze begriffen
wírt. der gibt ſehzic phenning.
Swer aber eín lieht tregt den ſol
niemē vf haben. Swer vf gehabte
wirt vf der ſtraze. der des wettes
ſchvldic wirt. den ſol man dē
bvtel antwurtē. vn̄ ſol man ím
nihtes niht nemen. ez ſei tac odˢ
naht. ſwanne er ſin wette gegibt
ſo ſol man ím nihtes niht
des ſinen vor behabē. Ez ſol ovch
weder rihter noch ſín chneht niͤmen
vf haben der hie purgˢ iſt.
danne vmb eínen totſlac. Wírt
halt eín pvrger vf gehabt vmb
einen totſlac. wil den einˢ ſiner
vrevnt vz nemen. vf daz reht.
ſo ſol ím der rihter vz geben. vn̄
ſol ſin reht nemen ob er ſin lovgent.
Wirt aber eín zerwerfnvſſe vndˢ
den pvrgern. vn̄ daz einer dar vnder
ſo gevrevnt were. oder ſo gewaltíc.
daz er niht vrides geben
wolt. zv dem mvgen wol zwen vō
dem rat gên. oder zwene ſchepfē
oder einer des rates vn̄ eín ſchepf
ob man ez fordert. oder ob ſi ez ſelbe
dvrch fvge tvnt. vn̄ die ſelben
zwene mvgē dem wol einē vride
bietē bei fvnf phvnden vierzehē
tage. Verſagt er den vride ſo ſol
man ín phendē vmb dev ſelben
fvnf phvnt. vn̄ den ſelben vride
ſol man ím alle tage gebieten.
bei fvnf phvnten. vierzehen tag
ze behalten. vn̄ als dike als er dē
vride verſpricht. ſo ſol man ín
phenden vmb fvnf phvnt. Hat
er der phenninge niht ſo ſol man
ín dar vmbe vf haben. vn̄ ſwēne
der vride geboten wirt der sol wern vierzehē
tage vn̄ naht. Vnz des morgens
ſo man tagmeſſe levtet ze ſande
Giligen. vn̄ ſwa dev fvnf phūt
verworht wordent . an allen ſachen.
der gehorent vierev an dev
ſtat. vn̄ eínz dem rihter. dar vmb
ſol er phandes helfen. vn̄ ſwēne
der hovbt vride gegeben wirt ſwelhe
ſinˢ vrevnt den vride dāne brichet.
der ſol ſín vride breche er berede
dāne ze den heiligen daz er
vmb den vride niht enweſt.
Ez ſol ovch dehein mvlner niht
mere nemen dāne den ſinē mvlmetzē.
Swelher mvlner daz brichet der
gibt ſehzíc phennīg alſ dike alſ
er ez brichet. Hat aber ez getā
der chneht mít ſines hˢren wort.
ſo ſol er aber ſehzic geben. Hat aber
er ez getan an ſines hˢren willen
vn̄ wort. ſo ſol der chneht díe
ſehzic phennīg geben. hat dˢ chnehte
der phennig niht. ſo ſol er einē
tac bei dem ſtoke ſitzen. Man verbevt
ovch den mvlnerē vnd iren
chnehten. daz ſi deheín mele verchovffen
in dˢ mvle. wand. die pvrgˢ
fvrhtet daz armer levte mel dar
zv gemiſchet werde.
Man heizet ovch verbieten daz
niemen deheín ole velſchen ſol. odˢ
vermiſche. ſwer daz bricht dˢ gibt
ſehzíc phenning als offte er ez brichet.
Ez ſol ovch niemen zwir vz
ſlahen. ſwˢ daz tvͦt der mvz ovch geben
ſehzic phennīg als offte er
ez tvͦt. Dar vber ſint geſetzet Chūrat
der zolner . vn̄ der halbkes. Hˢman
der mvlner. vn̄ der mvlner hínder
den vleiſchpenkín. die ſvlen
des ſweren daz ſi daz rvgent ſín
vn̄ ovch bewaren daz daz ſtet belibe.
Ez ſol ovch dehein viſcher deheinen
viſch chovffen danne bei dē
wazzer. da er gevangē wirt. er
welle danne ſinem hˢren da mit
dienen. ſwelher viſcher daz bricht
als dike er ez tvͦt ſo gibt er zwē
ſchillingē. Ez ſol ovch deheín purger
deheinē gaſt. ſín viſche verchovffen
hie vf dem markt ſwer
daz bricht der gibt ie von dem
tage zwen ſchillinge als dike
er ez bricht.
Man ſol ovch wizzen ſwˢ von der
ſtat veſt iht prichet. ez ſei an mower
oder an graben oder ſwa mit
dev ſtat geveſtent wirt. ſwˢ daz
brichet der iſt ſchuldic zehē phūt.
Hat er der phenning niht man
ſleht ím ab dev hant. bringet
man ez hínz ím als reht iſt. Rigel
oder Schrangbovm oder letze.
ſwer daz bricht der gibt eín phv̄t.
Hat er der phenning niht man
ſleht ím ab dev hant. Swer ovch
bowen wil der ſol mit ziegelen
oder mít laẏm bowen. er ſol ovch
mít ziegelen deken ſwˢ daz bricht
der iſt ſchvldíc fvnf phunt. vierev
der ſtat vn̄ einez dem Rihter.
Ez ſvlen ovch alle die den mit ᵽteren
erlovbt iſt ze deken. gedeket
haben mít ziegelē vf ſande
Giligen tac. der des niht entvͦt.
man phendet ín vmb fvnf phv̄t.
Ez ſol ovch niemen dehein vlaches
beraiten ínnerthabe dˢ Ríncmovre
ſwer daz brichet der gibt
ie von dem tage ſehzic phenning.
Man ſol ovch deheín gvlligez
ſmaltz noch deheín ſchelmigez
ſmaltz ſmeltzen noch dehein heffen
brennen innerthalb der mower.
ſwer ez dar vber tvͦt der gibt
ſehzic phennīg. als offte er daz
brichet.
Man ſol ovch wizzen daz deheín
pvrger den andern laden ſol vf deheín
geiſtlich geriht. ze Babenberch
noch nínder vmb dehein werltliche
ſache. ſwer ez dar vber tvͦt.
oder ſchaffet. oder ſwer dar zv rêt
oder hilfet. der ſol dem der da geladen
wirt ſínen ſchaden abtvͦn.
vn̄ dar zv ſol er der ſtat vn̄ dem
Rihter geben fvnf phvnt.
Man ſol ovch wizzen ſwer dˢ iſt
der dem rat oder den ſchephē an ir aide ſchīpfet
oder der ſi ſtraffet an dehein dingen.
dev ſi geſetzent oder dev ſi
gevrteilent vf ir eide der hat da
mît verworht fvnf phvnt. vn̄ ſol
man den dar vmb phenden. vnd
der ſelben fvnf phvnt werdent
der ſtat vierev. vn̄ eínz dem Rihter.
Iſt ovch daz iemen dehein ſchepfen
ſtrafet vmb ſín vrteil. oder
der in mit boſen worten anvˢtigt
ſwenne er get in des gerihtes geſchefte.
der iſt ovch ſchvldic dˢ ſelben
fvnf phvnt. (a)ber an dem geriht
ſwer danne den ſchepfē ſprichet
an ir eît. der iſt ſchuldic der
alten bvͦz daz iſt dem rihter eín
vrevil. vn̄ ie dem Schepfin zwelfeſchilling
. Swer ovch den anderē
vbelhandelt durch gerihts willē.
mít wortē oder vnd mit werken dˢ iſt
ſchvldíc der ſtat vn̄ dem Rihter
fvnf phvnt.
Man verbevt ovch ellev Tovbhovˢ
vn̄ daz iemen deheín vliegēt tovben
hab. fvr ſande Thomas tag
vber aht tag. vn̄ ze ſwem man
ſi fvrbaz vindet. wand man ſi beſvchen
ſol ie vber aht tag. vn̄ als
offte man ſi vindet als man ſi beſvchet
als dike mvz er geben ſêhzic
phennig. dˢ gevallent dem Rihter
dreizic vn̄ dˢ ſtat dreizíc.
Man verbevt ovch daz niemē dem
andern ín ſín garten ſteig noch ᵽche
vn̄ ím ſin obez oder ſín wurtze
oder iht des dar vz trage des er
dar ín gepflanzet hat. Swer ez dar
vber tvͦt wírt er dar an begriffen
bei dem tag. der gibt ſehzic phennínge.
wirt er aber dar an bei dˢ
naht begriffen der gibt ein phūt.
Swer ovch ín deheínes mannes wiſen
oder in ſinem korn begriffen
wirt bei der naht der gibt ovch ſehzic
phennīg.
Man hat ovch geſetzet vnd genomen
vz den mezzererē zwên maiſter
Merchlen den hefner vn̄ Otten
den Movrolfſteinˢ vn̄ vz den
chlingenſmiden zwên. friderich
den vfneſchil. vn̄ Heinrich den
ſchilher . die ſvlen daz bewaren
vf iren eit. daz niemen fvrbaz
dehein chlingen ſlahe. er enſtehele
ſi danne als ſi dvrch reht ſtahel
haben ſol. Swer ſi dar vber
ſleht vngeſtehelt der gibt ze pvͦz
ſehzic phenníg.
Man ſol ovch wizzen daz der Rat
von der ſtat alle weg. daz Schreibampt
pvtelampt. Mezmaiſtˢ vn̄
hvͤter vf dem markt vn̄ torwartē
vn̄ hírtē ſetzt vn̄ enſetzt vn̄ nie=men
anders.
Ez verbietent ovch die purgˢ
von dem Rat daz niemen mit gᵃbem
tvͦch noch mit Leínem tvͦche
ze markt ſol ſten. er en hab danne
ein Pank in dem wathovſe da
ſol er vf ſten vritags vn̄ Samztages
vn̄ nindˢ andˢſwa. als
ofte er daz brichet. als dike gibt
er von dem tag Sehzic phennīg
vn̄ er ez brichet
Man verbevt ovch von dem Rat
daz niemen deheín Pier veil haben
noch ſchenken ſol. ſwˢ ez dar
veil hat oder ſchenkt. dˢ gibt ie vō
dem Eẏmer Sehzic phennīg. vnd
dar zv ſol man ez im vz ſlahē ſwa
man ez vindet.
Ez habent ovch geſatzt die pvrger
von dem Rat. Swˢ ein vnbow
tvͦt ín dˢ ſtat. vn̄ dem die Powemaiſtˢ
die dāne powemaiſtˢ ſínt
gebietēt daz er den ab rovm. ſwˢ
daz gebot brichet vn̄ des niht en
tvͦt. der gibt ie von dem tag vn̄ ez
im vō den povmeiſtˢn gebotē wirt
ein phvnt phenīg. vn̄ er ez vˢſitzt
vn̄ niht entvͦt.
über daz brôt. in sancte Sîbaldes
pfarre. hêrrn Wolvlîn den Sahsen.
unde hêrrn Heinrîch den Îsvogel.
in sancte Laurenzen pfarre hêrren
Heinrîch den Regenolt. unde den
Heinrîch von Swâpach. unde zuo den
sancte Sîbaldes pfarre den Binzbergær.
unde den Gotevrit an dem
wînmarkete. in sancte Laurenzen
vüeret von Vorchheim. der sol
vleisch hêrrn Markart den Viech
Uolrîch den Bucken. Herman den
Milla. Vriderîch den Ilsunc. den
Lengenveldær. Vriderîch den Pomær.
Uolrîch den Kotzler unde den
Wurstlîn. die sulen daz bewaren
tuot. man sol ouch krâ noch mittiger
sancte Waltburge tage unde sancte
zwischen sancte Waltburge tage
unde sancte Giligen tage. swer daz
sancte Sîbaldes pfarre. Uolrîch
des Fritzen bruoder. Herman der
Griusinger. Uolrîch der Vûle. in
sancte Laurenzen pfarre. Merkel
der Rumel. Berhtolt Sumerlîn.
Ruotgêr der Brüeler die
oder verboten were offenlîche. der
pfenninge. treget aber ez værlîche
ouch er si heimelîche ist er aber
sîn burcreht êwiclîche haben
hât. von Vranken oder von dem
Neckar. niht ziehen von einem
Èlsezzær oder walhischen wîn
tage tagelîche unz man tagemesse
liutet ze sancte Giligen. unde an
gên. in sancte Sîbaldes pfarre
verrer. danne an des Kuonrât
Wîglînes hûs an dem milchmarkete.
Hartliebes was an dem höumarket.
unde in sancte Laurenzen pfarre
unz an des Kuonrât Krânvuozes
in sancte Sîbaldes pfarre.
Ëberhart der Heuzze. Sîbôt der
Hornlîn. Ruodolt der vuoterær. Kelner
der vuoterær. in sancte Laurenzen
pfarre der Hagenouwær. Heinrîch
unde Kuonrât der vuoterær an dem
ez sol ouch nieman geværlîche gên
Giligen. unde swâ diu vünf pfunt
der houbetvride gegeben wirdet sweliche
der zolnær. unde der Halbkes. Herman
Giligen tage. der des niht en tuot.
geistlich geriht. ze Babenberc
habe. vüre sancte Thomas tac
Merkelen den hebener unde Otten
den Mûrolfsteinær unde ûz den
klingensmiden zwêne. Vriderîch
den Ufneschil. unde Heinrîch den
slehet ungestehelt der gibet ze buoze